द इंस्टीटयूशन आफ इंजीनीयर्स द्वारा आयोजित बी. टेक के समकक्ष ए.एम.आई.ई. की परीक्षा के बारे मे एक गलत धारणा है कि यह परीक्षा अत्यंत कठिन है। यह सत्य नही है। सच्चाई यह है की अधिकांश परीक्षार्थी जॉब मे होते हैं, अत: वो ज्यादा समय नही दे पाते हैं। शायद यही कारण है की यह परीक्षा उन्हे कठिन लगती है। अगर पूरी प्लानिंग व अच्छे कोर्स की मदद से तैयारी की जाये तो कोई कारण नही की परीक्षा कठिन लगे। इसमे टाइम मैनेजमेंट महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। इस परीक्षा को पास करने का एक ही मूलमंत्र है – उपलब्ध कम समय मे पाजिटिव माइंड से प्रभावी तैयारी।
प्रभावी तैयारी के लिये उपलब्ध कोर्स/नोटस परीक्षा के ट्रेंड पर आधारित होने चाहिये न कि ऐसे टापिक्स पर जो पिछले कई वर्षो से पूछे ही न गये हों। एक अच्छे कोचिंग(पोस्टल/क्लास रूम) संस्थान से अवश्य जुडना चाहिये। पिछ्ले वर्षो के प्रश्न पत्रो का अध्ययन अवश्य करें। पाजिटिव माइंड के लिये परीक्षा तकनीक, नोटस बनाने की कला, योगा व मेडिटेशन पर उपलब्ध साहित्य अवश्य पढे। इन विषयो पर ढेरो वेब साइटे भी उपलब्ध हैं। तैयारी हमेशा तनाव मुक्त होकर करें। लंबे स्ट्रेच मे पढाई न करें। पढाई छोटे-2 स्ट्रेच मे करें। बीच-2 मे अपने पसंदीदा संगीत अथवा बाहर घूमकर प्रकृति का आनंद अवश्य लें। किसी प्रश्न के सही हल होने पर स्वयं की प्रशंसा अवश्य करें तथा अपनी पीठ अवश्य थपथपाये और कहे – आई हैव डन इट।
दूसरी गलत धारणा है कि इस परीक्षा को पास करने मे कई वर्ष लग जाते हैं। यह बिल्कुल गलत तथ्य है। अच्छे कोर्स की मदद से आप इस परीक्षा को मात्र तीन वर्ष मे पास कर सकते हैं। प्रत्येक वर्ष जून व दिसंबर मे यह परीक्षा होती है, तथा एक बार मे आप अधिकतम चार पेपर दे सकते हैं। इस प्रकार आप डिप्लोमा स्ट्रीम के 13 पेपर मात्र दो वर्ष मे पास कर सकते हैं। हाँ अगर आप गंभीर नहीं हैं तो शायद आप इस परीक्षा को पास ही नही कर पाये। अत: इस परीक्षा मे बैठने से पहले अपने कैलिबर को अवश्य ही जाँच ले।
इस परीक्षा का कोई रेगुलर क्लासरूम कोर्स पूरे भारत मे उपलब्ध नही है। कारण स्पष्ट है – अधिकांश अभियार्थिओं का नौकरी मे होना। क्लास के लिये वे वक्त नही दे सकते हैं। एकमात्र विकल्प सिर्फ स्वयं अध्ययन ही है। आवश्यकता सिर्फ इस बात की है की आपके पास अच्छा कोर्स मैटेरियल हो। यह मैटिरियल पूरी तरह ए.एम.आई.ई. की परीक्षा पर आधारित होना चाहिये तथा संक्षिप्त होना चाहिये, क्योकि नौकरी करने के कारण परीक्षार्थी के पास अधिक वक्त नही होता है।
ए.एम.आई.ई. की कोई भी पुस्तक मार्केट मे उपलब्ध नही है। अत: इसकी तैयारी उन पुस्तको से करनी पडती है जो आमतौर पर आई आई टी मे प्रचलित हैं। ये पुस्तकें कठिन भी होती हैं तथा महंगी भी। ऊपर से, अधिकांश पुस्तके कुछ चुनिन्दा शहरो मे ही उपलब्ध हैं जहाँ इंजिनियरिंग कालेज अथवा आई आई टी हैं। अभियार्थी को इनसे नोटस बनाने मे अत्याधिक समय खर्च करना पडता है। भारत मे कुछ ही संस्थान इस परीक्षा के लिये कोर्स मैटिरियल देते हैं जो पूर्णत: ए.एम.आई.ई. के सिलेबस के अनुसार होता है। इन संस्थानो की जानकारी प्राप्त करें। विभिन्न समाचार पत्रो व वेब साइट से आप इनकी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।